इस आर्टिकल में हम आपको बताएँगे कि इस बार के चुनाव में क्या खास रहा कौन कौन उम्मीदवार मैदान में उतरे किस तरह मतदान हुआ और आखिरकार DUSU election result क्यों इतना महत्वपूर्ण है।
DUSU Election 2025 कब और कैसे हुए?
DUSU चुनाव 18 सितंबर 2025 को हुए।
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सुबह की क्लास वाले छात्रों ने 8:30 बजे से 1 बजे तक वोट डाले।
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शाम की क्लास वाले छात्रों ने 3 बजे से 7:30 बजे तक मतदान किया।
कुल मिलाकर मतदान का माहौल काफ़ी उत्साहजनक रहा हालांकि शाम 5 बजे तक केवल 39.45% मतदान दर्ज हुआ
मैदान में कौन-कौन थे?
इस बार चुनाव में कुल 21 उम्मीदवार चार अहम पदों के लिए मैदान में थे
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अध्यक्ष (President)
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उपाध्यक्ष (Vice President)
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सचिव (Secretary)
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संयुक्त सचिव (Joint Secretary)
दिलचस्प बात यह रही कि नई शिक्षा नीति (NEP) के कारण तीसरे वर्ष के छात्रों को भी उपाध्यक्ष और संयुक्त सचिव पद पर चुनाव लड़ने का मौका मिला।
DUSU Election Result क्यों अहम है?
हर साल की तरह इस बार भी dusu election result को लेकर चर्चा जोरों पर है। वजह साफ़ है दिल्ली यूनिवर्सिटी का चुनाव सिर्फ़ छात्र राजनीति नहीं बल्कि बड़े पैमाने पर राष्ट्रीय राजनीति का आइना भी है।
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DU से निकलकर कई छात्र नेता देश की राजनीति में बड़े पदों तक पहुँचे हैं।
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चुनाव में उठने वाले मुद्दे आने वाले वक्त की राजनीति की दिशा तय करते हैं।
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DUSU election result 2025 बताएगा कि छात्रों के बीच कौन सी विचारधारा और मुद्दे ज्यादा असरदार हैं।
चुनावी मुद्दे
इस बार जिन मुद्दों पर सबसे ज्यादा चर्चा रही वे थे
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होस्टल की कमी कई छात्रों को अब भी रहने की सुविधा नहीं मिलती।
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फीस बढ़ोतरी स्टूडेंट्स बार बार फीस स्ट्रक्चर पर सवाल उठाते रहे।
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महिला सुरक्षा कैंपस में सुरक्षा और महिलाओं की भागीदारी बड़ा मुद्दा रहा।
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नई शिक्षा नीति (NEP 2020) छात्रों को लगता है कि इसके कारण उन पर अतिरिक्त दबाव आ रहा है।
इन मुद्दों को देखते हुए यह साफ़ है कि DUSU election result सिर्फ़ जीत-हार का खेल नहीं बल्कि युवाओं की असल चिंताओं को सामने लाने वाला प्लेटफ़ॉर्म है।
कोर्ट का बड़ा फैसला
दिल्ली हाई कोर्ट ने इस बार सख्ती दिखाते हुए यह आदेश दिया कि जिन छात्रों की उपस्थिति 75% से कम होगी, वे चुनाव नहीं लड़ पाएंगे।
इस फैसले ने कई उम्मीदवारों को प्रभावित किया। कुछ लोगों का मानना है कि इससे पढ़ाई पर ध्यान बढ़ेगा जबकि कुछ को लगता है कि यह राजनीति में सक्रिय छात्रों के लिए बाधा है।
प्रचार का नया अंदाज़
पुराने दिनों में जहां पोस्टर बैनर और लाउडस्पीकर से कैंपेन चलता था वहीं अब 2025 में सबकुछ डिजिटल हो गया है।
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सोशल मीडिया पर इंस्टाग्राम रील्स और व्हाट्सऐप ग्रुप सबसे बड़े हथियार बने।
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बड़े संगठनों को ऑनलाइन कैंपेन का फायदा मिला, वहीं छोटे उम्मीदवारों को चुनौती झेलनी पड़ी।
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प्रशासन ने पोस्टरबाज़ी और विजय जुलूस पर रोक लगाई ताकि कैंपस का माहौल शांत बना रहे।
DUSU Election Result से क्या उम्मीदें हैं?
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महिला प्रतिनिधित्व बढ़ेगा?
अगर महिला उम्मीदवार अच्छा प्रदर्शन करती हैं तो आने वाले सालों में और लड़कियाँ राजनीति में आगे आएंगी। -
राष्ट्रीय राजनीति पर असर
dusu election result 2025 बताएगा कि छात्रों का मूड किस तरफ़ है और यह संदेश राष्ट्रीय राजनीति में भी जाएगा। -
छात्रों के मुद्दों को तवज्जो
अगर इस बार नतीजों में फीस और होस्टल जैसे मुद्दे हावी रहते हैं, तो यह साफ़ संकेत होगा कि छात्र अब केवल प्रतीकात्मक राजनीति नहीं, बल्कि असली बदलाव चाहते हैं।
निष्कर्ष
DUSU election result 2025 सिर्फ़ एक छात्र संघ का नतीजा नहीं है, बल्कि यह आने वाले समय की राजनीति की दिशा तय करने वाला संकेत है। दिल्ली यूनिवर्सिटी का यह चुनाव हमेशा से देशभर में चर्चा का विषय रहा है और इस बार भी इसका असर दूर तक जाएगा।
अब देखना होगा कि कौन-सी पार्टी या संगठन बाज़ी मारता है और DU कैंपस की राजनीति का चेहरा बदलता है। लेकिन इतना तय है कि dusu election result आने के बाद छात्रों की आवाज़ और ज़्यादा मजबूती से सामने आएगी।
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